(Download) संघ लोक सेवा आयोग सिविल सेवा - मुख्य परीक्षा इतिहास Paper-1 - 2017
संघ लोक सेवा आयोग सिविल सेवा - मुख्य परीक्षा
(Download) UPSC IAS Mains Exam 2017
इतिहास (Paper-1)
Exam Name: UPSC IAS Mains इतिहास (Paper-1)
Marks: 250
Time Allowed: 3 Hours
खण्ड - A
प्रश्न 1. आपको दिए गए मानचित्र पर अंकित निम्नलिखित स्थानों की पहचान कीजिये एवं अपनी प्रश्न सह उत्त्तर पुस्तकों में से प्रत्येक पर लगभग 30 शब्दों की संक्षिप्त टिप्पणी लिखिए । मानचित्र पर अंकित प्रत्येक स्थान के लिए स्थान - निर्धारण संकेत क्रमानुसार निचे दिए गए हैं ।
(i) एक प्रागैतिहासिक गुहाचित्र स्थल
(ii) एक नवपाषाण - ताम्रपाषाणयुगीन स्थल
(iii) एक आरम्भिक हड़प्पाकालीन स्थल
(iv) एक हड़प्पाकालीन स्थल
(v) एक प्राचीन राजधानी
(vi) एक चित्रित धूसर मृदभांड स्थल
(vii) एक नवपाषाण स्थल
(viii) अशोक के अभिलेखों का एक स्थल
(ix) एक प्राचीन बन्दरगाह एवं व्यापर केंद्र
(x) एक हड़प्पाकालीन स्थल
(xi) एक ताम्रपाषाणकालीन स्थल
(xii) एक प्राचीन राजधानी
(xiii) एक शैल - खनित गुहा स्थल
(xiv) एक आरम्भिक क़िलाबन्दी नगर
(xv) एक शैल - खनित मंदिर स्थल
(xvi) एक प्राचीन मंदिर स्थल
(xvii) एक प्राचीन राजधानी
(xviii) एक प्राचीन मंदिर स्थल
(xix) एक एक पुरापाषाण स्थल
(x) एक प्राचीन राजधानी
प्रश्न 2.
(a) पुरालेखीय स्रोतों में राजनितिक इतिहास की अपेक्षा कला और संस्कृति कहीं अधिक सीमा तक प्रतिबिम्बित हैं । टिप्पणी कीजिए ।
(b) द्वितीय नगरीकरण ने संगठित निगम क्रियाकलापों को उत्पन्न किया , जो गुप्त काल के दौरान अपनी पराकाष्ठा पर पहुँच गए । विवेचना कीजिए ।
(c) मध्य भारत और दक्कन में गैर - हड़प्पाकालीन ताम्रपाषण संस्कृतियों का उदय न केवल लोगो की जीवन - निर्वाह की पद्धति में परिवर्तन का द्योतक हैं , वरन प्राक से आद्य ऐतिहासिक काल के समग्र संक्रमण का भी द्योतक हैं । समालोचनापूर्वक विश्लेषण कीजिए ।
प्रश्न 3.
(a) नवनीतम खोजों के प्रकाश में वैदिक - हड़प्पाकालीन सम्बन्धों पर विभिन्न मतों का समलोचनापूर्वक परीक्षण कीजिए ।
(b) "अशोक के धम्म की संकल्पना , जैसी कि उसके अभिलेखों के माध्यम से पता चलता हे , की जड़ें वैदिक - उपनिषदी साहित्य में थी । " चर्चा कीजिए ।
(c) तीसरी सदी ई. पू. से पाँचवीं सदी ई. तक का भारतीय इतिहास का काल -खण्ड नवप्रवर्तन और अन्योन्यक्रिया का काल था | इस पर आप क्या प्रतिक्रया देंगे ?
प्रश्न 4.
(a) भारत में मंदिर स्थापत्यकला के उद्भव और विकास की रुपरेखा को , उनकी प्रादेशिक शैलियों एवं विभिन्ताओं का उल्लेख करते हुए प्रस्तुत कीजिए ।
(b) बौध्दधर्म एवं - जैनधर्म , धर्म के छत्र के अधीन सामाजिक आन्दोलन थे । टिप्पणी कीजिए ।
(c) प्राद्वीपीय भारत के जटिल सामाजिक - सांस्कृतिक वातावरण का चित्र प्रारंभिक संगम साहित्य में प्रस्तुत किया गया हैं । रुपरेखा प्रस्तुत कीजिए ।
Click Here to Download PDF
NEW! UPSC, IAS परीक्षा संपूर्ण अध्ययन सामग्री (प्रारंभिक, मुख्य, साक्षात्कार COMBO) - Hindi Medium
DOWNLOAD UPSC मुख्य परीक्षा Main Exam GS सामान्य अध्ययन प्रश्न-पत्र PDF
DOWNLOAD UPSC MAINS GS 10 Year PAPERS PDF
DOWNLOAD UPSC MAINS GS SOLVED PAPERS PDF
UPSC सामान्य अध्ययन सिविल सेवा मुख्य परीक्षा अध्ययन सामग्री
UPSC GS PRE Cum MAINS (HINDI Combo) Study Kit
खण्ड - B
प्रश्न 5. निन्मलिखीत प्रत्येक प्रश्न का उत्तर लगभग 150 शब्दों में दीजिए :
(a) भारत के सांस्कृतिक इतिहास में 11 वीं - 12 वीं सदी ई. में घटनापूर्ण प्रगति देखी गई थी ।
(b) विजएनगर साम्राज्य के संबंध में विदेशी यात्रियों के वृत्तान्तों का मूल्यांकन कीजिए।
(c) बलबन की 'रक्त और लौह ' नीति का समालोचनात्मक परीक्षण कीजिए।
(d) क्या आप कल्हण की राजतरंगिणी को कश्मीर के राजनितिक इतिहास का एक विश्वसनीय स्रोत मानते हैं। क्यों ?
(e) सिखों का धर्म उनकी एकता की मुख्य शक्ति था । टिप्पणी कीजिए।
प्रश्न 6.
(a) खिलाफत किस सीमा तक दिल्ली के सुल्तानों के विधिक प्राधिकार का स्रोत और संस्वीकृति थी ?
(b) "भक्ति और सूफ़ी आन्दोलनों ने एक ही सामाजिक प्रयोजन की पूर्ति की थी। " विवेचना कीजिए।
(c) 13 वीं - 14 वीं सदी ई. में गैर -कृषि उत्पादन और नगरीय अर्थव्यवस्था की रुपरेखा प्रस्तुत कीजिए।
प्रश्न 7.
(a) क्या आप इस बात से सहमत हैं की मुहम्मद बिन तुग़लक़ की योजनाएँ भलीभाँति संकल्पनित , निकृष्टतः कार्यान्वित और विनाशपूर्णतः परित्येक थीं ? चर्चा कीजिए।
(b) क्या आपके विचार में अकबर की राजपूत नीति विशिष्ट भारतीय शसकों को मुगल साम्राज्य व्यवस्था में समाविष्ट करने का एक सोचा - विचारा प्रयास था ?
(c) "18 वीं शताब्दी के दौरान भारत में सामाजिक - आर्थिक अवनति के लिए राजनितिक विघटन जिम्मेदार था। " टिप्पणी कीजिए।
प्रश्न 8.
(a) "मुगलकालीन चित्र , समकालीन समाज में सामाजिक साम्रजस्य को प्रतिबिम्बित करते हैं। "
(b) 13 वीं से 17 वीं शताब्दियों ई. के दौरान कृषक वर्ग की दशा का आकलन कीजिए।
(c) मराठों की विस्तारवादी नीति को आप किस रूप में देखते हैं ? रुपरेखा प्रस्तुत कीजिए।